पर्व और पर्यावरण – Team Indian Environmentalism
पर्व और त्यौहार हमारी संस्कृति के अभिन्न हिस्सा रहे हैं। हमारी परंपरा में ऋतुओं के अनुसार त्यौहार हैं। फसल चक्र के अनुरूप त्यौहार हैं। तमाम लोक अनुभूतियों और स्मृतियों को संजोये हुए ये त्यौहार हमारे अतीत को वर्तमान से जोड़ते हैं और हमें भविष्य का रास्ता भी दिखाते हैं। इसके साथ ही त्यौहार हमें उत्सव धर्मी भी बनाने का प्रयास करते हैं अब हमारा समाज कितना उत्सव धर्मी बन पाता हैबये एक अलग विषय है (भारत दुनिया के सबसे कम खुशहाल देशों में से एक है)।